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Exclusive: MP TAK ने पूछा सवाल ‘कांग्रेस जीती तो कौन बनेगा मुख्यमंत्री’, अरुण यादव बोले ‘अभी कुछ तय नहीं’

MP Tak Website Launching:पूर्व केंद्रीय मंत्री और प्रदेश कांग्रेस कमेटी के पूर्व अध्यक्ष अरुण यादव ने MP TAK बैठक कार्यक्रम में शिरकत की. इस दौरान उन्होंने इंटरव्यू देते हुए कहा कि ‘ मध्यप्रदेश में कांग्रेस की तरफ से मुख्यमंत्री पद का दावेदार कौन होगा? यह 2023 के विधानसभा चुनाव के परिणाम के आने के बाद […]
तस्वीर: एमपी तक

MP Tak Website Launching:पूर्व केंद्रीय मंत्री और प्रदेश कांग्रेस कमेटी के पूर्व अध्यक्ष अरुण यादव ने MP TAK बैठक कार्यक्रम में शिरकत की. इस दौरान उन्होंने इंटरव्यू देते हुए कहा कि ‘ मध्यप्रदेश में कांग्रेस की तरफ से मुख्यमंत्री पद का दावेदार कौन होगा? यह 2023 के विधानसभा चुनाव के परिणाम के आने के बाद ही तय किया जाएगा. पूरा देश जानता है कि विधायक दल की मीटिंग में ही हमारे यहां पर मुख्यमंत्री पद का उम्मीवार तय होता है. वर्तमान में कमलनाथ प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष हैं और हम चुनाव में उनके अध्यक्षीय नेतृत्व में लड़ने जा रहे हैं. लेकिन हमें केंद्रीय नेतृत्व के रूप में राहुल गांधी और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे का भी सहयोग मिल रहा है. हमारी पार्टी की तरफ से मुख्यमंत्री कौन होगा, इसके बारे में अभी से कुछ नहीं कह सकते हैं’. MP Tak Website लांचिंग के अवसर पर India Today ग्रुप के TAK वर्टिकल के क्लस्टर हेड  नीरज गुप्ता के तमाम सवालों के जवाब दिए पूर्व केंद्रीय मंत्री और प्रदेश कांग्रेस कमेटी के पूर्व अध्यक्ष अरुण यादव ने. विस्तार से पढ़िए, पूरा इंटरव्यू. 

सवाल– राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा से कांग्रेस को 2023 विधानसभा चुनाव में क्या कोई लाभ मिलेगा?

अरुण यादव- भारत जोड़ो यात्रा को देश की जनता का अभूतपूर्व सहयोग मिला है. राहुल गांधी ने कन्याकुमारी से कश्मीर तक 3700 किमी की यात्रा निकाली है. इस यात्रा ने मप्र में लगभग आधे भाग को कवर किया है. लोगों में इस यात्रा को लेकर बहुत उत्साह दिखा है. हालाकि विरोधियों को बहुत तकलीफ हुई है. उन्होंने यात्रा को असफल बनाने के सभी प्रयास किए लेकिन वे सफल नहीं हुए. इस यात्रा के जरिए राहुल गांधी और पूरी कांग्रेस पार्टी का आम जनता के साथ एक कनेक्ट बना है. जाहिर है, इसका लाभ विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को मिलेगा.

सवाल- बीजेपी के कमल पर जीत दर्ज करने के लिए कांग्रेस के कमल और दिग्विजय क्या साथ आ रहे हैं? पार्टी में मौजूद गुटबाजी से कांग्रेस को नुकसान हुआ है?

अरुण यादव– यह बात सही है कि 2018 के विधानसभा चुनाव में हमें जनता का बहुमत मिला था. लेकिन बीजेपी ने फरेब करके हमें मिले उस बहुमत को चुरा लिया. यह बात भी सही है कि उस समय हमारे कुछ साथी हमें छोड़कर चले गए थे और  हम उन स्थितियों को संभाल नहीं सके थे.

सवाल– 2018 में सत्ता विरोधी जो लहर थी, वह अब निकल चुकी है. ऐसे में एंटी इंकम्बेंसी फैक्टर कैसे काम करेगा?

अरुण यादव– ताज्जुब की बात है कि 18 साल से सीएम शिवराज सिंह चौहान हैं और वे रोज सुबह उठकर सवाल कमलनाथ और कांग्रेस पार्टी से करते हैं. जवाब तो उनको देने चाहिए. उनके 18 साल तक सीएम रहते हुए उन्होंने प्रदेश के लिए ऐसा कौन सा काम किया या योजना बनाई, जिसके बल पर मप्र की तस्वीर राष्ट्रीय स्तर पर बदल गई हो. लोगों ने देखा है कि मप्र में कैसे-कैसे महाघोटाले हुए. व्यापमं कांड अभी लोगों के जेहन में जिंदा है. इसलिए एंटी इंकम्बेंसी फैक्टर आज भी मौजूदा है.

सवाल- लोगों को लग सकता है कि कांग्रेस को वोट देंगे तो उनका बहुमत तो चोरी हो जाएगा, ऐसे में कांग्रेस को वोट क्यों दिए जाएं? जो जीत रहा हो, उसका वोट क्यों ना दें?

अरुण यादव- मैं मानता हूं कि हमारे कुछ साथी दगा दे गए. अब सत्ता के लिए कुछ साथी बेईमान निकल जाएं तो कोई क्या कर सकता है.

सवाल- कांग्रेस को लेकर बनने वाली सुर्खियों से अरुण यादव साइड लाइन से क्यों दिखाई देते हैं? क्या पार्टी में आप साइड लाइन कर दिए गए हैं?

अरुण यादव-  देखिए, जब मैं कांग्रेस का प्रदेश अध्यक्ष था, तब कांग्रेस ने 2018 के विधानसभा चुनाव में बेहतर प्रदर्शन किया. इसलिए दिल्ली को तय करने दीजिए, कि कौन क्या करेगा. अभी हमारा लक्ष्य मिलकर विधानसभा चुनाव लड़ना है और एक मात्र एजेंडा है, ‘सत्ता हासिल करना’. कौन क्या बनेगा या क्या जिम्मेदारी निभाएगा, यह सत्ता मिलने के बाद दिल्ली से तय किया जाएगा.

सवाल- कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जेपी अग्रवाल का बयान आया था कि कमलनाथ ही सीएम फेस होंगे, यह अभी तय नहीं है. क्या पार्टी के अंदर गुटबाजी खत्म नहीं हो रही है?

अरुण यादव– देखिए, मैं मानता हूं कि पार्टी के अंदर कम्यूनिकेशन की समस्या है. अभी हमारे पास समय है. इसको हम बेहतर करने की कोशिश करेंगे. मैं अपने साथियों और वरिष्ठों से भी कहूंगा कि एकजुट होकर विधानसभा चुनाव में सत्ता हासिल करने के लक्ष्य के लिए काम करें.

सवाल- ये दिल्ली से ठीक होगा या मप्र कांग्रेस करेगी?

अरुण यादव- दिल्ली से भी होगा और मप्र कांग्रेस भी मिलकर हर समस्या दूर करेगी.

सवाल– पिछले दिनों कांग्रेस की पॉलीटिकल अफेयर कमेटी में कमलनाथ के पुत्र नकुलनाथ को शामिल किया गया. क्या बीजेपी को परिवारवाद के आरोप लगाने का मौका दे दिया?

अरुण यादव– इस पर टिप्पणी नहीं करूंगा. निर्णय दिल्ली का है. हमारी जिम्मेदारी है कि हम उस निर्णय को स्वीकार करें

सवाल– क्या आपको लगता है कि पार्टी के अंदर सब कुछ स्मूथ नहीं चल रहा है?

अरुण यादव– मैं मानता हूं कि पार्टी के अंदर सब कुछ स्मूथ नहीं चल रहा है, लेकिन हम मिलकर इसे ठीक करने की कोशिश करेंगे.

सवाल– 30 लाख नए वोटर जुड़े हैं. जो युवा हैं और पहली बार मतदान करेंगे.उनको अपनी तरफ लाने कांग्रेस क्या कर रही है?

अरुण यादव-  युवाओं को आकर्षित करने हम लोग काम कर रहे हैं. युवाओं को भरोसा दे रहे हैं कि मप्र में मौजूद बेरोजगारी को दूर करके उनको हम रोजगार से जोड़ेंगे. इसके औद्योगिक सेक्टर में काम करेंगे, जिससे नए रोजगार सृजित हों.

सवाल- मप्र में कांग्रेस जीती तो मुख्यमंत्री कौन बनेगा?

अरुण यादव- दिल्ली तय करेगी, कौन मुख्यमंत्री बनेगा. अभी पीसीसी चीफ कमलनाथ हैं. उनके साथ मिलकर हम लोग विधानसभा चुनाव लड़ने जा रहे हैं.

सवाल– यदि दिल्ली की तरफ से आपको जिम्मेदारी दी गई तो क्या आप निभाएंगे?

अरुण यादव- पार्टी जो भी जिम्मेदारी देगी, उसे मैं निभाऊंगा.

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