MP Lok Sabha Elections Voting: चौथे चरण की वोटिंग के बाद हो गया बड़ा खेल, इंदौर में BJP को लगा बड़ा झटका
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MP Lok Sabha Elections 2024: मध्यप्रदेश में शाम 5 बजे तक के वोटिंग के आंकड़े आ गए हैं. एमपी में चौथे व अंतिम चरण में शाम 5 बजे तक 68.01 प्रतिशत मतदान हो चुका है. वोटिंग शाम 6 बजे तक चली है, जिसकी वजह से इस आंकड़े में और इजाफा हो सकता है. चुनाव आयोग ने शाम 5 बजे तक के वोटिंग के जो आंकड़े सामने रखे हैं, उनके अनुसार सबसे अधिक मतदान मंदसौर जिले में हुआ है और सबसे कम इंदौर में हुआ है.
मंदसौर लोकसभा सीट पर शाम 5 बजे तक 70.80 प्रतिशत मतदान हुआ है. इंदौर में सबसे कम 56.53 प्रतिशत वोटिंग हुई है. देवास में 71.53 प्रतिशत, धार में 67.55 प्रतिशत, खंडवा में 68.21 प्रतिशत, खरगोन में 70.80 प्रतिशत, मंदसौर में 71.76 प्रतिशत, रतलाम में 70.61 प्रतिशत, उज्जैन में 70.44 प्रतिशत मतदान हुआ है.
पहले तीन चरण को देखें तो चौथे चरण में मध्यप्रदेश में वोटिंग अच्छी हुई है. लेकिन इंदौर के आंकड़ों ने बीजेपी की चिंता बढ़ाई है. क्योंकि यहां तो कांग्रेस प्रत्याशी चुनावी मैदान में ही नहीं था. ऐसे में कम वोटिंग होने से बीजेपी प्रत्याशी की जीत का आंकड़ा पार्टी द्वारा निर्धारित किए गए टारगेट के अनुरुप शायद ही हो सके.
इंदौर का दांव बीजेपी पर उल्टा पड़ गया
इंदौर का दांव बीजेपी पर उल्टा पड़ गया है. चौथे चरण में हुए मतदान के दौरान सबसे कम वोटिंग इंदौर में ही दर्ज की गई है. जबकि यदि मतदाता बीजेपी से खुश होता तो वोटिंग 70 प्रतिशत से ऊपर जाना चाहिए थी लेकिन शाम 5 बजे तक वोटिंग हुई सिर्फ 56.53 प्रतिशत. इस आंकड़े ने बीजेपी नेताओं को परेशान कर दिया है.
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बीजेपी ने कांग्रेस प्रत्याशी रहे अक्षय कांति बम को भाजपा में शामिल कर लिया था और उससे पहले उसका नामांकन वापस कराने में मदद की. बीजेपी के कद्दावर नेता कैलाश विजयवर्गीय ने खुद ही अक्षय कांति बम को अपनी गाड़ी में ले जाकर नामांकन वापस कराया और फिर सेल्फी लेकर दिनभर क्रेडिट भी लिया लेकिन बाद में यही दांव उल्टा पड़ गया.
बीजेपी आलाकमान ने दिया था 12 लाख से अधिक मतों से जीत का टारगेट
बीजेपी अलाकमान ने सीएम मोहन यादव, कैबिनेट मंत्री कैलाश विजयवर्गीय सहित कई अन्य नेताओं को इंदौर के लिए टारगेट दिया 12 लाख से अधिक मतों से जीत दर्ज करने का. 2019 के लोकसभा चुनाव में इंदौर सीट पर बीजेपी उम्मीदवार शंकर लालवानी 5 लाख से अधिक मतों से जीते थे. इस बार ये टारगेट बीजेपी ने दो से तीन गुना तक ले जाने का सेट कर दिया.
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बीजेपी आलाकमान ने ऐसा इसलिए भी किया, क्योंकि कांग्रेस के चुनावी मैदान से हट जाने के बाद बीजेपी के सामने सिर्फ 14 निर्दलीय प्रत्याशी बचे थे और ऐसे में बीजेपी की जीत ऐतिहासिक होनी चाहिए थी. लेकिन इंदौर के लोगों को बीजेपी का यह निर्णय पसंद नहीं आया और बड़ी संख्या में इंदौर में लोगों ने वोटिंग नहीं की और जो लोग वोट देने गए, संभावना है कि उनमें से बड़े पैमाने पर लोगों ने नोटा को वोट दिया है. ऐसे में देखना होगा कि अब इंदौर सीट पर बीजेपी प्रत्याशी कितने लाख वोटों से जीतते हैं या फिर नोट को मिले वोट देश को बड़ा संदेश देंगे.
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चौथे चरण में गर्मी से मिली राहत, मौसम ने दिया मतदाताओं का साथ
चौथे व अंतिम चरण में मध्यप्रदेश में लोगों को गर्मी से राहत भी मिली और मौसम ने मतदाताओं का साथ दिया. कई जगह आंधी- तेज हवा चली और बारिश भी हुई. इंदौर, शाजापुर, धार सहित कई जिलों में तेज हवाएं चलीं, बारिश हुई और कई जगह ओले गिरने की भी खबरें सामने आईं.
किस लोकसभा सीट पर कैसा रहा दिनभर वोटिंग का हाल
- उज्जैन में वोटिंग के दौरान एक पीठासीन अधिकारी को हटा दिया गया. निर्वाचन आयोग को शिकायत मिली कि संबंधित पीठासीन अधिकारी किसी एक पार्टी को वोट देने के लिए लोगों को उकसा रहा था.
- देवास में भी एक पीठासीन अधिकारी को हटाने की खबर सामने आई है. यहां पर फर्जी वोटिंग होने की शिकायत सामने आई थी.
- नीमच और आगर मालवा में कुछ मतदाताओं ने सड़क, पानी की बुनियादी परेशानियों के चलते मतदान का बहिष्कार किया.
- इंदौर में कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने कुछ पोलिंग बूथों के बाहर नोटा की टेबलें लगाईं, जिसे बीजेपी कार्यकर्ताओं की आपत्ति के बाद जिला प्रशासन के अधिकारियों ने हटवा दिया था.
- इंदौर में ही वोट डालने वाले मतदाताओं को 56 दुकान पर फ्री में पोहा खिलाने की तस्वीरें भी सामने आईं.
-शाजापुर और धार जिले में मौसम ने करवट ली और तेज आंधी और बारिश की वजह से यहां के कुछ मतदान केंद्रों पर लगे टेंट गिर पड़े.
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