सीधी पेशाब कांड से दुखी होकर इस भाजपा नेता ने पार्टी से दिया इस्तीफा, लगाए ये बड़े आरोप
Sidhi news: मध्यप्रदेश के सीधी में हुए पेशाब कांड ने पिछले तीन दिनों से बीजेपी के लिए मुश्किलें बढ़ा रखी हैं. सीएम शिवराज सिंह चौहान से लेकर सिंधिया तक और अन्य बीजेपी नेता इस मामले में डैमेज कंट्रोल की कोशिशों में लगे ही थे कि अब सीधी जिले के बीजेपी के जिला महामंत्री विवेक कोल […]

Sidhi news: मध्यप्रदेश के सीधी में हुए पेशाब कांड ने पिछले तीन दिनों से बीजेपी के लिए मुश्किलें बढ़ा रखी हैं. सीएम शिवराज सिंह चौहान से लेकर सिंधिया तक और अन्य बीजेपी नेता इस मामले में डैमेज कंट्रोल की कोशिशों में लगे ही थे कि अब सीधी जिले के बीजेपी के जिला महामंत्री विवेक कोल ने इस मामले से दुखी होकर पार्टी की सदस्यता से ही इस्तीफा दे दिया. जिला महामंत्री विवेक कोल ने बताया कि इस घटना के बाद से वे बेहद दुखी हैं और तीन दिन से सो नहीं पा रहे हैं. इस कारण उन्होंने पार्टी की सदस्यता से ही इस्तीफा दे दिया.
उन्होंने प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा को अपना इस्तीफा सौपते हुए सीधी विधायक केदारनाथ शुक्ला पर कई गंभीर आरोप लगाए हैं. सीधी भाजपा के जिला महामंत्री विवेक कोल ने प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा को अपना इस्तीफ इस्तीफा भेज दिया है. सीधी पेशाब कांड मामले में निशाना साधते हुए विधायक केदारनाथ शुक्ला पर कई गंभीर आरोप लगाए हैं.
उन्होंने कहा की सीधी विधायक केदारनाथ शुक्ला के कृत्यों से आहत होता रहा हूँ. क्योंकि उन्होंने हर तरफ अपने सत्ता का दुरुपयोग करते हुए आतंक मचा रखा है. आदिवासियों की जमीन पर अवैध कब्जा कर आदिवासी भाइयों पर अत्याचार किया. साथ ही सीधी के कलाकारों और पत्रकारों को नंगा करके थाने में पिटवाना तो चल ही रहा था कि अब इनके प्रतिनिधि ने आदिवासी कोल समाज के एक भाई के चेहरे में पेशाब भी कर दिया जिस कारण से मैं पिछले 3 दिनों से बहुत व्यथित हूँ.
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बीजेपी पर लगाए आरोप, दे रही अपराधियों को संरक्षण
विवेक कोल ने आरोप लगाए हैं कि बीजेपी अपराधियों को संरक्षण दे रही है. आदिवासी समाज की बैठक में निर्णय लिया है क ऐसी पार्टी के साथ नहीं चल सकते हैं. आदिवासी समाज की बैठक में निर्णय लिया है कि बीजेपी अपराधियों को अपने पास रखना चाहती है या फिर आदिवासी समाज के लोगों को. विवेक कोल ने कहा कि सीधी विधायक केदारनाथ शुक्ल भाजपा में जब तक रहेंगे, तब तक मेरा यहां दम घुटता रहेगा, इसीलिए मैं आदिवासी भाइयों की लड़ाई बिना किसी दबाब के खुलकर लड़ना चाहता हूँ और पार्टी से इस्तीफा दे रहा हूँ.
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