MP Election 2023: मध्यप्रदेश विधानसभा चुनाव के लिए वोटिंग हो चुकी है और अब इंतजार 3 दिसंबर का है, जब वोटिंग के रिजल्ट सामने आएंगे और पता चलेगा कि मध्यप्रदेश में अगली सरकार किसकी बन रही है. लेकिन इस बीच जो ये समय चल रहा है, वह कांग्रेस और बीजेपी दोनों के लिए ही बेहद तनावपूर्ण है. ईवीएम मशीनों की निगरानी के लिए सभी पार्टियों ने अपने कार्यकर्ता तैनात कर दिए हैं. लेकिन मुरैना क्षेत्र में बीजेपी की विपक्षी पार्टियों द्वारा केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर पर कई बड़े गंभीर आरोप लगाए जा रहे हैं.
एमपी तक ने मुरैना, दिमनी क्षेत्र की ईवीएम की निगरानी कर रहे नेताओं से स्ट्रांग रूम के बाहर बात की तो वे बोले कि उनको केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर और बीजेपी से डर है कि ये लोग ईवीएम को भी प्रभावित कर सकते हैं. स्ट्रांग रूम के बाहर बैठे बसपा के कार्यकर्ताओं का कहना है कि नरेंद्र सिंह तोमर ने अपने प्रभाव का इस्तेमाल करके वोटिंग वाले दिन चुनाव को प्रभावित किया. कलेक्टर-एसपी उनके इशारे पर काम कर रहे हैं.
बसपा के नेताओं का यह भी आरोप है कि दिमनी सीट पर कांग्रेस प्रत्याशी रविंद्र सिंह तोमर की बीजेपी प्रत्याशी और केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर से सांठ-गांठ हो चुकी है. वे सब एक हो चुके हैं और इस कारण ही दिमनी सीट पर वोटिंग वाले दिन काफी उधम हुआ था. पुलिस-प्रशासन ने असमाजिक तत्वों को खुली छूट दी थी, जिसके कारण दिमनी में कई लोग वोट नहीं डाल पाए. इन आरोपों को बीजेपी के नेताओं ने नकारा है.
ईवीएम को सीसीटीवी से देखने को लेकर क्या बोले विपक्षी पार्टियों के नेता
स्ट्रांग रूम के बाहर बैठे बीजेपी के विपक्षी पार्टियों के नेता आरोप लगाते हुए बोलते हैं कि पहले ईवीएम जिस स्ट्रांग रूम में रखीं हैं, उनके बाहर तंबू लगाने देते थे लेकिन इस बार स्ट्रांग रूम से काफी बाहर हमें बैठा दिया है और हमारे सामने ईवीएम मशीन सिर्फ सीसीटीवी रिकॉर्डिंग से देखने को मिल रही है, जो उनको समझ नहीं आ रहा है. कांग्रेस, बसपा सहित अन्य पार्टियों के नेताओं ने आरोप लगाए कि बीजेपी और केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर के इशारे पर ये सब हो रहा है. चुनाव को प्रभावित करने की पूरी कोशिश की गई है और निर्वाचन आयोग इस मामले में कुछ नहीं कर रहा है.
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