MP NHM Paper Leak: नेशनल हेल्थ मिशन मध्य प्रदेश (NHM MP) की मंगलवार (7 फरवरी) को होने वाली संविदा स्टाफ नर्स भर्ती परीक्षा का पर्चा लीक होने के बाद हड़कंप मच गया. नर्सिंग परीक्षा का पेपर 15 लाख रुपये में बेचने वाले गैंग का क्राइम ब्रांच ने पर्दाफाश कर दिया और 8 लोगों को गिरफ्तार किया है. इसमें 3 आरोपी ग्वालियर के निवासी हैं. बाकी साथी प्रयागराज यूपी के बताए जा रहे हैं. पेपर लीक के बाद एनएचएम की भर्ती परीक्षा निरस्त कर दी गई. अब इस मामले में राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत ने एंट्री ली है. इधर, क्राइम ब्रांच के हाथ अब भी गैंग का मास्टर माइंड नहीं आया है. कांग्रेस इस मामले को लेकर शिवराज सरकार पर हमलावर हुई है.
सीएम गहलोत ने ट्वीट करते हुए कहा, “मध्य प्रदेश में राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन की संविदा स्टाफ नर्स की भर्ती की परीक्षा पेपर लीक के कारण रद्द की गई है. बीते दिनों में गुजरात, जम्मू कश्मीर एवं अन्य राज्यों में पेपर लीक की घटानएं गंभीर चिंता का विषय है.” पेपर लीक की देशव्यापी समस्या का समाधान निकालने की आवश्यकता है. क्या भाजपा मध्य प्रदेश में पेपर लीक की CBI जांच करवाएगी?”
45 हजार अभ्यर्थी परीक्षा में शामिल हुए
एक शिफ्ट के एक्जाम के बाद NHM MP की 2284 पदों पर होने वाली भर्ती परीक्षा को ‘पेपर लीक’ होने की वजह से रद्द कर दिया है. 2284 पदों के लिए 45000 अभ्यर्थी परीक्षा में शामिल हुए थे. ग्वालियर में हुए परीक्षा पेपर लीक के बाद दोपहर की पारी में जब दूसरे एग्जाम की बारी आई तो तमाम स्टूडेंट्स को एग्जाम हॉल में बिठा लिया गया, लेकिन परीक्षा जब नियत समय पर शुरू नहीं हुई तो उम्मीदवारों को परीक्षा निरस्त होने की सूचना दी गई.
NHM की संविदा स्टाफ नर्स ‘परीक्षा’ का पर्चा लीक, 15 लाख रुपये में पेपर बेचते थे आरोपी; एग्जाम रद्द
गोविंद सिंह ने कहा- बीजेपी नेता माफियाओं को संरक्षण दे रहे हैं…
वहीं, एनएचएम के पेपर लीक होने के बाद अब कांग्रेस शिवराज सरकार के खिलाफ हमलावर हो गई है..नेता प्रतिपक्ष गोविंद सिंह ने आरोप लगाया है कि शिवराज सरकार और बीजेपी नेता माफियाओ को सरंक्षण दे रहे है.. उन्होंने मांग ये भी मांग की है कि पेपर निरस्त होने की वजह से परीक्षार्थियों को जो नुकसान हुआ है सरकार उसकी भरपाई करे.
कांग्रेस का सरकार पर हमला- 24 घंटे बाद भी मास्टरमाइंड का सुराग नहीं
मध्य प्रदेश कांग्रेस मीडिया विभाग के अध्यक्ष केके मिश्रा ने स्वास्थ्य विभाग से संदर्भित आयुष्मान योजना में हुये घोटाले के बाद स्टाफ नर्सिंग भर्ती परीक्षा (एनएचएम) पेपर लीक मामले की तुलना व्यापमं महाघोटाले के बराबर बताते हुए 48 घंटे बीत जाने के बाद भी इस मामले के मास्टर माइंड का सुराग नहीं मिलने पर हैरानी जताई है. उन्होंने कहा कि इससे प्रतीत हो रहा है कि सरकार, स्वास्थ्य और चिकित्सा शिक्षा मंत्रालय की इस विषयक भूमिका संदिग्ध है और ‘‘सुलेमानी ताकत’’ के सामने इन तीनों ने आत्मसमर्पण कर रखा है.
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