mptak
Search Icon

Lok Sabha Election: अमित शाह के हमले पर दिग्विजय सिंह ने खेला इमोशनल कार्ड, बोले- BJP नेता मेरी अर्थी निकालने की तैयारी में

पंकज शर्मा

ADVERTISEMENT

दिग्विजय सिंह ने खेला इमोशनल कार्ड
दिग्विजय सिंह ने खेला इमोशनल कार्ड
social share
google news

Lok Sabha Election 2024: भाजपा के दिग्गज नेता अमित शाह ने दिग्विजय सिंह पर हमला करते हुए कहा था कि "आशिक का जनाजा है, जरा धूम से निकले." अब पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय ने इस पर नया पैंतरा चल दिया है. दिग्विजय सिंह ने इमोशनल कार्ड चलते हुए राजगढ़ की जनता की जनता से अपील की है कि "बीजेपी के नेता मेरी अर्थी निकालना चाहते हैं, अब फैसला आपके हाथ में है कि मैं आपके सिर आंखों पर रहूं या कंधे पर रहूं." वहीं उन्होंने भावुक अपील करते हुए कहा कि ये मेरा आखिरी चुनाव है. 

गृहमंत्री अमित शाह शुक्रवार राजगढ़ के खिलचीपुर में रैली करने के लिए पहुंचे थे. इस दौरान उन्होंने दिग्विजय सिंह पर जबरदस्त तरीके से हमला बोला था. अमित शाह ने अब दिग्विजय सिंह को राजनीति से परमानेंट विदाई देने का समय आ गया है. विदाई आपको करनी है.

ये भी पढ़ें:  MP Lok Sabha Elections: 'अमित शाह ने 17 बार मेरा नाम लिया, 8 झूठ बोले', शाह के तीखे हमलों पर दिग्विजय का करारा जवाब

मेरे पास कंधों की कमी नहीं है- दिग्विजय सिंह

अमित शाह के हमलों पर इमोशनल कार्ड खेलते हुए दिग्विजय सिंह ने कहा, "उन्होंने भारतीय जनता पार्टी के कार्यकर्ताओं से मांग की कि दिग्विजय सिंह का जबरदस्त जनाजा निकला जाए, मेरे पास कंधों की कमी नहीं है. भारतीय जनता पार्टी के कंधों पर मेरा शव नहीं जाएगा, मेरे पास कांग्रेस के कार्यकर्ताओं की अपर संख्या है."

ADVERTISEMENT

यह भी पढ़ें...

यह मेरा आखिरी चुनाव है- दिग्विजय सिंह

दिग्विजय सिंह ने भावुक अपील करते हुए कहा, "मैं आपसे कहने आया हूं, यह मेरा आखिरी चुनाव है. मैं जनता की लड़ाई लड़ने के लिए चुनाव में आपके बीच आया हूं. मैं आपसे एक ही बात की प्रार्थना करता हूं 10 सालों से एक लोकसभा के संसद सदस्य को आजमाया है, 5 साल मुझे भी आजमा के देखो आपको निराश नहीं होने दूंगा."

मुझे कंधे पर उठाएं या सिर आंखों पर बिठाएं- दिग्विजय

दिग्विजय सिंह ने एक्स पर कर लिखा, "मुझ पर अमित शाह जी की कृपा रही है. उनका मेरे प्रति इतना प्रेम है कि उन्होंने मेरा जनाजा निकालने तक की बात कह दी. यानि मेरी अर्थी बीजेपी के नेता निकालना चाहते हैं और क्यों, क्योंकि मैं आप सबकी चिंता करता हूं. मैं चाहता तो मना कर देता कि चुनाव नहीं लडूंगा, लेकिन मेरे गृह क्षेत्र की जनता की उपेक्षा ने मुझे चुनाव लडऩे के लिए मजबूर किया. मैं आखिरी दम तक आपके बीच आपकी लड़ाई लड़ता रहूंगा, चाहे आप मुझे कंधे पर उठाएं या सिर आंखों पर बिठाएं, अब आपकी मर्जी है, लेकिन मैं सदैव आप का था और रहूंगा."

ADVERTISEMENT

ये भी पढ़ें: अमित शाह ने बता दिया सांसद केपी यादव के भविष्य का प्लान, चुनाव के बाद मिलने वाली है बड़ी जिम्मेदारी?

ADVERTISEMENT

    follow on google news
    follow on whatsapp

    ADVERTISEMENT