MP में आदिवासियों को रोजगार देने के दावे की भाजपा नेता ने ही खोल दी पोल, कह दी ये बड़ी बात
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MP News: मध्य प्रदेश में आदिवासियों को अच्छा रोजगार देने के राज्य सरकार के दावों की पोल भारतीय जनता पार्टी के नेता ने ही खोल दी. रतलाम झाबुआ से सांसद गुमान सिंह डामोर ने इसकी तुलना तमिलनाडु से कर डाली और कहा कि तमिलनाडु में ज्यादा पैसे मिलते हैं इसलिए वहां ट्राइबल्स काम के लिए जाते हैं. उन्होंने कहा कि आदिवासी पलायन नहीं करते हैं, बल्कि अच्छे रोजगार की तलाश में बाहर जाते हैं. इस वक्त भाजापा नेता ये भूल गए कि जहां एक ओर शिवराज सरकार अच्छे रोजगार देने के दावे कर रही है, तो वहीं वे इस बात को कबूल कर रहे हैं कि रोजगार की तलाश में आदिवासियों को बाहर जाना पड़ता है.
राज्य के आदिवासी अंचल में गर्मी शुरू होते ही आदिवासी काम की तलाश में अपने गावों से पलायन कर जाते है. लेकिन रतलाम झाबुआ के सांसद गुमानसिंह डामोर इसको पलायन नहीं मानते हैं. सांसद का कहना है कि अच्छे रोजगार की तलाश में हम अगर थोड़े समय के लिए कहीं जाते हैं और वापस आ जाते हैं वह पलायन नहीं हैं.
तमिलनाडु से की तुलना
दिशा समिति की बैठक में शामिल होने आए सांसद गुमानसिंह डामोर यहां पत्रकारों से चर्चा कर रहे थे. उन्होंने कहा कि तमिलनाडु में 1 दिन की मजदूरी 1000 रूपये मिलती है, हमारे यहां 100 दिन रोजगार उपलब्ध ज्यादा मिलता है. इस तुलना को करते हुए सांसद संभले और कहा कि तमिलनाडु जैसी बराबरी हम इसलिए नहीं कर पा रहे हैं, क्योंकि वहां मैनपावर की कमी है. हमारे यहां मैन पावर ज्यादा है.
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रोजगार के लिए बाहर जाते हैं आदिवासी
गर्मियों के दिनों में आदिवासियों द्वारा बाहर पलायन करने के सवाल पर भाजपा सांसद गुमान सिंह ने कहा कि पलायन का यह मतलब होता है प्राकृतिक और ऐसे कारण जो व्यक्ति जहां रहा है, वह वहां नहीं रह पाता है. मजबूर हो बाहर जाने के लिए वह पलायन होता है. हमारे जो ट्राइबल एरिया हैं झाबुआ का हो, रतलाम का हो या अलीराजपुर का हो यह सभी क्षेत्रों में हमारे जो आदिवासी भाई बहन हैं. अच्छे रोजगार की तलाश में जाते हैं और मानसून के पहले वापस आ जाते हैं.
विकास के मुद्दों पर की चर्चा
इस दौरान सांसद गुमान सिंह ने रतलाम के विकास के मुद्दों पर भी चर्चा की. उन्होंने कहा कि हमारे रतलाम जिले के लिए सबसे बड़ा प्रोजेक्ट ट्रेन एक्सप्रेस रतलाम झाबुआ में कार्य लगभग पूरा हो गया है और मंदसौर जिले में थोड़ा सा कार्य बचा है. अप्रैल माह में वह भी पूरा हो जाएगा. मध्यप्रदेश का जो हिस्सा है उसके लोकार्पण के लिए मैंने नितिन गडकरी जी से अनुरोध किया है कि मई महीने के किसी भी तारीख और मध्य देश का जो हिस्सा है उसका लोकार्पण कर दें. यह हमारा सबसे बड़ा प्रोजेक्ट है. बंजली हवाई पट्टी के विकास संबधी सवाल पर कहा कि सरकार प्रयास कर रही है, लेकिन कोई बिल्ड (निविदा) ही नहीं आ रही है, लेकिन हम यहां मिनी एयरपोर्ट बनाकर ही रहेंगे.
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